पर्वतों के बीच स्थित यह स्थान बहुत सौन्दर्य युक्त है। यहां की प्राकृतिक खूबसूरती काफी संख्या में पर्यटकों को अपनी ओर खींचती है। उत्तराखंड राज्य के गढ़वाल मंडल का एक प्रसिद्ध एवम् लोकप्रिय जिला है। तीन नदियों के संगम (भागीरथी, भिलंगना व घृत गंगा) या तीन छोर से नदी से घिरे होने के कारण इस जगह को त्रिहरी व फिर टीरी व टिहरी नाम से पुकारा जाने लगा।
टिहरी गढ़वाल में घूमने की जगह। Places to visit in Tehri Garhwal
ओणेश्वर महादेव मंदिर
ओणेश्वर महादेव भगवान शिव स्वरुप है। इस मन्दिर में श्रीफल के अतिरिक्त और किसी भी चीज की बली नहीं दी गई और आज भी मात्र एक श्रीफल और चावल अपने ईष्ट को पूजने का काम सभी श्रद्धालू करते आ रहे हैं। ओणेश्वर महादेव मंदिर श्रधा , विश्वास , प्रगति और उन्नति का प्रतीक है।

सुरकंडा देवी मंदिर
यह मंदिर देवी दुर्गा को समर्पित है , जो कि नौ देवी के रूपों में से एक है। सुरकंडा देवी मंदिर ठीक पहाड़ की चोटी पर है। सुरकंडा देवी मंदिर प्रमुख हिन्दू मंदिर है , जो कि उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल जनपद में जौनुपर के सुरकुट पर्वत पर स्थित है एवम् यह मंदिर धनोल्टी और कानाताल के बीच स्थित है। सुरकंडा देवी मंदिर समुद्रतल से करीब तीन हजार मीटर की ऊंचाई पर बना है।

चन्द्रबदनी मंदिर
चन्द्रबदनी मंदिर टिहरी मार्ग पर चन्द्रकूट पर्वत पर स्थित लगभग आठ हजार फीट की ऊंचाई पर स्थित है। प्राचीन ग्रन्थों में भुवनेश्वरी सिद्धपीठ के नाम से चन्द्रबदनी मंदिर का उल्लेख है। चन्द्रबदनी मंदिर देवी सती की शक्तिपीठों में से एक एवम् पवित्र धार्मिक स्थान है। और साथ ही आदि जगतगुरु शंकराचार्य ने यहां शक्तिपीठ की स्थापना की।

मासर ताल टिहरी गढ़वाल
यह समुद्र तल से 3,000 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है। भीलंगना नदी का उद्गम स्थल मसर ताल का महत्वपूर्ण स्रोत है। इस झील के पास स्थित ज्ञात शहर घ्ट्टू और घनसाली हैं। यह झील मासार टॉप के नीचे स्थित है। इन घास के मैदानों को विभिन्न वनस्पतियों से ढंका गया है, जिस पर नंगे पैर चलने से ऐसा लगता है जैसे बादलों पर बह रही हो।

नाग टिब्बा
नाग टिब्बा के सफर के दौरान आप बंदरपूंछ, स्वर्गारोहिनी , गंगोत्री और केदारनाथ पर्वत चोटियों के शानदार दृश्य देख सकते हैं। नाग टिब्बा देवदार जंगलों के घिरा हुआ है, जो इस सफर को रोमांचक बनाने का काम करते हैं। वीकेंड एडवेंचर के लिए यह खास ट्रेकिंग रूट सबसे आदर्श विकल्प है।

कालिंदी पास ट्रेक
इस सफर के दौरान आप चुनिंदा सबसे खास हिन्दू तीर्थस्थलों के दर्शन भी कर सकते हैं। कालिंदी पास को हिमालय के सबसे दुर्गम पर्वतीय ट्रेक में गिना जाता है। इसके अलावा यह स्थान विभिन्न जीवों को घर भी है, आप यहां बुलबुल, उल्लू, कोयल, गिद्ध , स्वर्ण चील , भालू आदि जीवों को देख सकते हैं। कालिंदी पास को हिमालय के सबसे दुर्गम पर्वतीय ट्रेक में गिना जाता है।

टिहरी डैम
टिहरी बांध की ऊंचाई 261 मीटर है, जो विश्व का पांचवा सबसे ऊंचा बांध है। गढ़वाल में टिहरी डैम देखने योग्य स्थान है, यह बांध पहाड़ों से आती भागीरथी नदी और भीलांगना नदी पर बनाया है। टिहरी बांध की ऊंचाई 261 मीटर है, जो विश्व का पांचवा सबसे ऊंचा बांध है।

चंबा
पहाड़ियों के बीच बसा यह हिल स्टेशन बेहिसाब प्राकृतिक खबसूरती के लिए जाना जाता है। चंबा गढ़वाल के उन खास स्थानों में आता है जहां का प्लान आप कम बजट में भी बना सकते हैं। न्यू टिहरी का निकटतम स्थान चंबा जो ऋषिकेश से न्यू टिहरी के रास्ते में पड़ता है। इसके अलावा आप चंबा से हिमालय पक्षी प्रजातियों को निहार सकते हैं।

नरेंद्रनगर
महल की संरचना काफी खूबसूरत है, जिसका आंगन का खूबसूरत फूल-पौद्यों से भरा हुआ है। ऋषिकेश से न्यू टिहरी के रास्ते एक और खूबसूरत पर्यटन स्थल बीच में पड़ता है, जो अपनी प्राकृतिक खूबसूरती और ऐतिहासिक महल के लिए जाना जाता है। महल पहाड़ी पर बना हुआ है, जिसके लिए आपको थोड़ी चढ़ाई करनी होगी।
