हैदराबाद में घूमने की जगह। Places to visit Hyderabad

दक्षिण भारत के तेलांगना प्रदेश की राजधानी हैदराबाद है, जिसकी आबादी लगभग 6.7 मिलियन है। हैदराबाद चौथा ऐसा शहर है जिसकी आबादी सबसे अधिक है। साथ ही यह आंध्र प्रदेश की एक विधि सम्मत राजधानी भी है। इस शहर का इतिहास बहुत पुराना हैं यहाँ पर मुग़लों, क़ुतुब शाही एवं निजामों ने शासन किया था। हैदराबाद शहर पर्यटन की दृष्टि से पूरी दुनिया में प्रसिद्ध है जिसे न्यूयॉर्क टाइम्स’ ने साल 2011 में 41 जगह की लिस्ट में शामिल किया गया था। हैदराबाद के 41 पर्यटक स्थान जहाँ घुमने जाया जा सकता है, इस सूची में शामिल किया गया था। जिसे 19 वें स्थान पर रखा गया था। इसके बाद साल 2013 में ‘लोनली प्लेनेट’ ने हैदराबाद को तीसरी बेस्ट सिटी फॉर ट्रेवल का ख़िताब दिया था। ‘मोतियों का शहर’ से जाना जाने वाला यह शहर दुनिया में अकेली ऐसी जगह है, जहाँ पर असली मोती, पन्ना और बड़ा हीरा मिलता है। साथ ही यह ग्लोबली व्यापार का भी एक बड़ा केंद्र है।

 

हैदराबाद का इतिहास (Hyderabad History)

हैदराबाद को सन् 1591 में मुहम्मद कुली कुतुब शाह ने स्थापित किया था। इसके बाद ही कुतुब शाही राजवंश ने लगभग 100 सालों तक यहां राज किया। हैदराबाद को हथयाने के लिए 1700 के दशक में मुगलों ने हथयाने का प्रयास किया था। कुतुब शाही राजवंश को हराने के बाद मुगल वायसराय आसिफ जाह प्रथम ने हैदराबाद में अपना राजवंश शुरु के दिया था। राजधानी के तौर पर हैदराबाद राज्य करीब 150 वर्षो तक रहा। 1948 में इसे आजादी के बाद संघ में ला लिया गया और आंध्रप्रदेश की राजधानी बना दिया गया। आंध्रप्रदेश से तेलांगना प्रदेश 2014 में अलग हो गया, जिसके बाद ही हैदराबाद शहर दोनों राज्यों की राजधानी बन गया।

हैदराबाद में घूमने की जगह। Places to visit Hyderabad


 

 

चारमीनार

हैदराबाद का नाम सुनते ही जो स्थान सबसे पहले याद आता है वो है चार मीनार। हैदराबाद की शान चारमीनार शहर के एकदम बीचों बीच स्थित है। जिसे शहर का दिल कहा जाता हैं। मोहम्मद कुली क़ुतुब ने इस स्मारक को 1591 में बनवाया था। चारमीनार की वास्तुकला में आपको साजिया शैली देखने को मिलती है। एक एक घातक महामारी इस स्मारक के निर्माण का कारण है, जो उस काल में कई लोगो की मौत का कारण बन रही थी। 48.7 मीटर लंबे चार मीनार में 45 प्रार्थना के लिए रिक्त स्थान और एक मस्जिद भी बनाई गई है।

स्थान

चार मीनार हैदराबाद शहर बीचों बीच स्थित है। जहां बहुत आसानी से पहुंचा जा सकता है।

चारमीनार
                                               चारमीनार

 

गोलकोंडा किला

गोल्ला कोंडा का मतलब है चरवाहों का हिल। जिसका निर्माण 13वीं शताब्दी के यादव राजवंश के समय किया गया था। यहां की सुंदर दीवारें और शाही महल इस किले की सुंदरता को और भी बढ़ा देते है। यह भारत के मजबूत किलों में से एक है। साथ ही इस किले में ध्वनि का प्रभाव बहुत तेज़ सुनाई देता है। यदि आप फ़तेह दरवाजा में खड़े होकर ताली बजाते है तो इसकी आवाज आपको 1 किलोमीटर दूर तक बाला हिसार तक सुनाई देगी।

गोलकोंडा किला
                                 गोलकोंडा किला

 

फलकनुमा पैलेस

ऊंचाई पर स्थित यह पैलेस बहुत ही सुंदर है। इसीलिए इसका नाम फलकनुमा रखा गया है, जिसका मतलब आसमान का आइना होता है। इस महल को इटली के एक वास्तुकार ने पांचवें पैगाह अमीर के लिए बनाया था। जिसे बाद में इसे निजाम ने जीत लिया। इस पैलेस में शाम को लाइट और साउंड शो होता है। यह गोलकोंडा किले का इतिहास बताता है। अब इस पैलेस की ताज ग्रुप के द्वारा देख रेख की जा रही है। और अब इस पैलेस को एक हेरिटेज होटल के रूप में बनवाया जा रहा है।

फलकनुमा पैलेस
                               फलकनुमा पैलेस

 

नेहरु जूलॉजीकल पार्क

हैदराबाद के बहादुरपुर में स्थित इस पार्क में 1500 से भी ज्यादा जानवर है जो कि 300 एकड़ में फैला हुआ है। इस पार्क को साल 1959 में स्थापित किया गया था और इसका उद्घाटन 1963 में हुआ था। इस पार्क में आप सफेद बाघ, शेर, गैंडा और रॉयल बंगाल टाइगर देख सकते है इन सब के अलावा और भी कई जानवर देखने को मिल जाएंगे। पार्क में प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय भी है साथ ही बच्चों के लिए ट्रेन है और आप यहां हाथी की सवारी भी के सकते है।

नेहरु जूलॉजीकल पार्क
                         नेहरु जूलॉजीकल पार्क

 

रामोजी फिल्म सिटी

इसे एशिया के सबसे लोकप्रिय पर्यटन स्थलों और मनोरंजन केन्द्रों में से एक माना जाता है। इसे 1996 में खोला गया था। इसका नाम हैदराबाद के मुख्य आकर्षण में शामिल है। दुनिया की सबसे बड़ी एकीकृत फिल्म स्टूडियो तथा थीम पार्क रामोजी सिटी ही है। रामोजी फिल्म सिटी में टीवी सीरियल की शूटिंग और बहुत से फिल्मों की भी शूटिंग होती रहती है, जिसे देखने के लिए भी लोग यहाँ दूर दूर से आते है। इसे दुनिया के सबसे बड़े फिल्म स्टूडियो के रूप में गिनीज बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड में शामिल किया गया है।

स्थान

रामोजी फिल्म सिटी हैदराबाद से विजयवाड़ा हाईवे में स्थित है, जहाँ तक पहुंचने में लगभग 20 मिनट का समय लगता है।

 रामोजी फिल्म सिटी
                             रामोजी फिल्म सिटी

 

हुसैन सागर लेक

एशिया का सबसे बड़ा मानव निर्मित लेक हुसैन सागर लेक है। यह लेक सिकंदराबाद और हैदराबाद शहरों को जोड़ता है, जिसे जुड़वाँ शहर के नाम से भी जाना जाता हैं। इब्राहिम कुली कुतुब शाह के शासन के दौरान इस लेक की खुदाई 1562 में शुरू की गई थी। हुसैन सागर लेक के बीचोंबीच भगवान बुद्धा की मूर्ति है, जो कि 16 मीटर ऊँची प्रतिमा है। नौका बिहार की सुविधा भी इस लेक में उपलब्ध है। इस लेक में वाटर स्पोर्ट्स जैसे पैरा सेलिंग, स्कीइंग और क्रुज आदि भी होते है।

स्थान

यह लेक हैदराबाद सिटी सेंटर से लगभग 2 किलोमीटर की यात्रा स्थित है।

हुसैन सागर लेक
                                        हुसैन सागर लेक

 

शामिर्पेट

इस लेक को मानव द्वारा निर्मित किया गया है जिसमें आपको प्रकति के मनोरम दृश्य देखने को मिलते है। निज़ाम के समय इस सुंदर लेक का निर्माण किया गया था। साथ ही यहां हिरनों का एक उद्यान भी है। जहां आप बड़ी मात्रा में हिरन देख सकते है। साथ ही यहां कई तरह के पक्षी भी देखने को मिल जाते है। यहां आप अपने दोस्तों तथा परिवार के साथ आ कर प्रकति का सुंदर नजारों के मजे कर सकते है।

शामिर्पेट
                                             शामिर्पेट

 

बिरला मंदिर

इस सुंदर मंदिर का निर्माण सफ़ेद मार्वल के पत्थरों से किया गया है। इस मंदिर की बनावट आर्यन मंदिरों के जैसे और दक्षिण भारतीय मंदिरों के जैसे लगेगी। यह मंदिर पहाड़ी में बना हुआ है जहां से खड़े होकर आप लेक की सुन्दरता को देख सकते है। इसके साथ ही आप यहाँ से पूरे शहर का नज़ारा देख सकते है। जिसे देख कर आप सुख की अनुभूति करेंगे। वेंकत्श्वर भगवान को समर्पित यह मन्दिर तिरुमाला तिरुपति की मूर्ती की रेप्लिका है। साथ ही इस बिरला मंदिर के पास में ही बिरला विज्ञान संग्रहालय भी बना हुआ है।

बिरला मंदिर
                                       बिरला मंदिर

 

मक्का मस्जिद

सुल्तान मोहम्मद क़ुतुब शाह ने लगभग 400 साल पहले मक्का मस्जिद का निर्माण किया था। जो कि मोहम्मद क़ुतुब शाह हैदराबाद के छठवें शाही सुल्तान थे। इस मस्जिद के निर्माण के लिए लगभग 8 हजार मजदूर लगे हुए थे। और मोहम्मद कुतुब शाह ने इस मस्जिद की आधारशिला व्यक्तिगत रूप से रखी थी।

मक्का मस्जिद
                                            मक्का मस्जिद

 

उस्मान सागर

मुसी नदी में सन् 1920 में ओसमान सागर का निर्माण किया गया था। इस सागर के निर्माण की वजह लोगों के लिए पीने का पानी था। हैदराबाद के अंतिम निज़ाम उस्मान अली खान के शासनकाल में इस नदी का निर्माण किया गया था। इन सब के साथ ही यहां घूमने के लिए रिसोर्ट और मनोरंजक पार्क भी है। लेकिन अब इस लेक में पानी की आपूर्ति नहीं की जाती है बस अब यह एक मनोरंजन का साधन है।

उस्मान सागर
                                         उस्मान सागर

हैदराबादी खानपान (Hyderabadi Cuisine)

पूरी दुनिया में हैदराबाद का खाना प्रसिद्ध है। हैदराबाद के खाने में आपको अरब, मुगल, तुर्किश, परसियन, तेलगु और ईरानी संस्कृति का स्वाद चखने मिलेगा। साथ ही यहाँ के प्रसिद्ध व्यंजनों ने हैदराबादी हलीम और हैदराबादी बिरयानी शामिल है। जो कि मुगलों और अरब के स्वाद के अनुसार निर्मित हुए है। इस हैदराबाद की आईकोनिक डिश मानी जाती हैं। और इस डिश देश दुनिया के कोने कोने में प्रसिद्ध है। और यदि आप अगर आप तीखा खाने का शौक रखते है तो आपको हैदराबाद के किसी भी कोने में आपकी पसंद का स्वाद आसानी से मिल जायेगा। हैदराबाद की हैदराबादी बिरयानी आपको नॉनवेज और वेज दोनों ही रूप में मिल जाएगी।